20 सितंबर तक खाली करो गांव! पंजाब की इन 5 पंचायतों ने दिया अल्टीमेटम, जानें पूरा मामला?
Babushahi Bureau
होशियारपुर, 14 सितंबर: होशियारपुर के मोहल्ला दीप नगर में एक बच्चे हरवीर सिंह के अपहरण और हत्या के बाद इलाके में शोक और गुस्से का माहौल है। इस घटना के बाद स्थानीय लोगों और कई गांवों की पंचायतों का गुस्सा प्रवासी मजदूरों (Migrant Labourers) पर फूट पड़ा है। सुरक्षा चिंताओं का हवाला देते हुए, कई ग्राम पंचायतों ने सर्वसम्मति से प्रस्ताव (Resolution) पास कर प्रवासियों को गांव छोड़ने का आदेश दिया है।
किन-किन गांवों ने पास किए प्रस्ताव?
इस मामले में अब तक कई पंचायतें सख्त कदम उठा चुकी हैं:
1. शांति नगर पंचायत ने प्रवासियों को 20 सितंबर तक गांव खाली करने का अल्टीमेटम दिया है।
2. बजवाड़ा की पंचायत ने भी इसी तरह का प्रस्ताव पास किया है।
3. इनके अलावा, अज्जोवाल, रसूलपुर और चडियाल की पंचायतों ने भी प्रस्ताव पास कर प्रवासियों को तुरंत गांव छोड़ने के लिए कहा है।
क्यों लिया गया यह कड़ा फैसला?
गांव के सरपंचों और निवासियों का कहना है कि यह फैसला गांव की सुरक्षा, खासकर महिलाओं और बच्चों की सुरक्षा के लिए जरूरी है।
1. बढ़ती आपराधिक घटनाएं: उनका आरोप है कि कई प्रवासी बिना किसी पहचान पत्र या पुलिस वेरिफिकेशन (Police Verification) के रह रहे हैं, जिससे इलाके में चोरी और अन्य आपराधिक घटनाओं में बढ़ोतरी हुई है।
2. बच्चे की हत्या से बढ़ा आक्रोश: हरवीर सिंह की हत्या ने इस गुस्से को और भड़का दिया है। लोगों का मानना है कि अगर बिना पहचान वाले लोगों को गांव से नहीं हटाया गया तो भविष्य में ऐसी और घटनाएं हो सकती हैं।
यह फैसला पंजाब में प्रवासी मजदूरों और स्थानीय समुदायों के बीच बढ़ते तनाव को दर्शाता है। हालांकि, पुलिस और प्रशासन ने पंचायतों को समझाया है कि इस तरह का कदम कानूनी रूप से सही नहीं है, लेकिन पंचायतें अपने फैसले पर अड़ी हुई हैं।
MA
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