भारत और रूसी तेल को लेकर Trump का फिर आया बड़ा बयान! जानें क्या कहा
Babushahi Bureau
नई दिल्ली/वाशिंगटन, 18 अक्टूबर, 2025 : अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने एक बार फिर भारत को लेकर एक बड़ा और विवादास्पद दावा किया है, जिसे भारत सरकार पहले ही खारिज कर चुकी है। व्हाइट हाउस (White House) में यूक्रेन के राष्ट्रपति वलोडिमिर ज़ेलेंस्की से मुलाकात के दौरान ट्रंप ने दोहराया कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने उन्हें व्यक्तिगत रूप से आश्वासन दिया है कि भारत रूस से कच्चा तेल खरीदना बंद कर देगा।
ट्रंप ने क्या-क्या दावे किए?
यूक्रेनी राष्ट्रपति के साथ बातचीत के दौरान, ट्रंप ने न केवल भारत-रूस तेल व्यापार पर टिप्पणी की, बल्कि कई अन्य बेतुके दावे भी किए:
1. भारत पर दावा: ट्रंप ने कहा, "भारत रूस से तेल नहीं खरीदेगा। वे पहले ही इसे कम कर चुके हैं और अब इसे और कम कर देंगे।" उन्होंने कहा कि यह रूस-यूक्रेन युद्ध को समाप्त करने के लिए मास्को पर आर्थिक दबाव बनाने की उनकी रणनीति का हिस्सा है।
2. भारत-पाकिस्तान संघर्ष सुलझाने का दावा: ट्रंप ने एक बार फिर दावा किया कि उन्होंने भारत और पाकिस्तान के बीच हालिया संघर्ष को सुलझाया था। उन्होंने कहा, "मैंने अब तक आठ युद्ध सुलझाए हैं और अगला सुलझाने पर यह नौवां होगा।"
3. नोबेल पुरस्कार का दर्द: ट्रंप ने शिकायत की कि हर बार जब उन्होंने कोई विवाद सुलझाया, तो लोगों ने कहा कि उन्हें नोबेल पुरस्कार मिलना चाहिए, लेकिन उन्हें यह कभी नहीं मिला। उन्होंने कहा, "मुझे इन बातों से फर्क नहीं पड़ता, मैं बस जानें बचाना चाहता हूं।"
4. लाखों जिंदगियां बचाने का दावा: उन्होंने यह भी दावा किया कि उन्होंने इन संघर्षों को रुकवाकर दस लाख से ज्यादा जानें बचाई हैं और पाकिस्तान के प्रधानमंत्री ने भी इस बात को माना है।
भारत ने किया दावों का खंडन
ट्रंप के इन दावों के विपरीत, भारत सरकार ने अपना रुख साफ कर दिया है। मंत्रालय ने कहा कि भारत की आयात नीतियां पूरी तरह से अपने ऊर्जा सुरक्षा (energy security) और भारतीय उपभोक्ताओं के हितों को ध्यान में रखकर तय की जाती हैं। भारत अपनी जरूरत के हिसाब से दुनिया में कहीं से भी तेल खरीदता है।
क्या है पूरा मामला?
यह विवाद तब शुरू हुआ जब ट्रंप ने रूस-यूक्रेन युद्ध के संदर्भ में भारत पर दबाव बनाना शुरू किया। चीन के बाद भारत रूसी तेल का दूसरा सबसे बड़ा खरीदार है। इसी के चलते ट्रंप प्रशासन ने अगस्त में भारत पर भारी-भरकम टैरिफ (tariff) भी लगाया था। ट्रंप का मानना है कि अगर भारत जैसे बड़े खरीदार रूस से तेल लेना बंद कर दें, तो रूस की अर्थव्यवस्था पर दबाव पड़ेगा और वह युद्ध रोकने पर मजबूर होगा।
विशेषज्ञों का मानना है कि ट्रंप की यह दोहरी नीति है, क्योंकि एक तरफ वह भारत पर दबाव बना रहे हैं, वहीं दूसरी ओर खुद रूसी राष्ट्रपति पुतिन के साथ अमेरिका-रूस व्यापार बढ़ाने की बातें कर रहे हैं।