दिल्ली हाईकोर्ट के जज यशवंत वर्मा के घर के पास कूड़े में जले हुए नोट मिले
नई दिल्ली, 23 मार्च, 2025 (एएनआई): सफाई कर्मचारियों ने कहा है कि उन्हें दिल्ली उच्च न्यायालय के न्यायाधीश न्यायमूर्ति यशवंत वर्मा के आधिकारिक आवास के पास जले हुए नोटों के टुकड़े मिले हैं, जो कथित तौर पर उनके आवास से बरामद नकदी को लेकर जांच का सामना कर रहे हैं।
सफाई कर्मचारी इंद्रजीत ने एएनआई को बताया, "हम इस क्षेत्र में काम करते हैं। हम सड़कों से कूड़ा इकट्ठा करते हैं। हम 4-5 दिन पहले यहां सफाई कर रहे थे और कूड़ा इकट्ठा कर रहे थे, तभी हमें 500 रुपये के जले हुए नोट के कुछ छोटे टुकड़े मिले। हमें यह उसी दिन मिला था। अब हमें 1-2 टुकड़े मिले हैं...हमें नहीं पता कि आग कहां लगी।"
भारत के मुख्य न्यायाधीश संजीव खन्ना ने शनिवार को पंजाब एवं हरियाणा उच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश शील नागू, हिमाचल प्रदेश के मुख्य न्यायाधीश जीएस संधावालिया और कर्नाटक उच्च न्यायालय के न्यायाधीश न्यायमूर्ति अनु शिवरामन की तीन सदस्यीय समिति गठित की, जो उनके खिलाफ लगे आरोपों की जांच करेगी।
सर्वोच्च न्यायालय द्वारा जारी एक प्रेस विज्ञप्ति के अनुसार, सर्वोच्च न्यायालय ने दिल्ली उच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश देवेन्द्र कुमार उपाध्याय द्वारा उच्च न्यायालय के न्यायाधीश यशवंत वर्मा से जुड़े विवाद में दायर जांच रिपोर्ट जारी कर दी है।
अपनी रिपोर्ट में दिल्ली उच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश ने कहा कि प्रथम दृष्टया उनकी राय है कि पूरे मामले की गहन जांच की आवश्यकता है।
सर्वोच्च न्यायालय ने न्यायमूर्ति यशवंत वर्मा का जवाब भी जारी किया, जिन्होंने आरोपों से इनकार किया है और कहा है कि यह उन्हें फंसाने और बदनाम करने की साजिश प्रतीत होती है।
न्यायमूर्ति वर्मा ने कहा कि उनके या उनके परिवार के किसी सदस्य द्वारा उस स्टोररूम में कभी भी कोई नकदी नहीं रखी गई, तथा उन्होंने कहा कि वे इस बात की कड़ी निंदा करते हैं कि कथित नकदी उनकी है।
उन्होंने बताया कि जिस कमरे में आग लगी थी और जहां कथित तौर पर नकदी मिली थी, वह एक बाहरी भवन था, न कि मुख्य भवन जहां न्यायाधीश और उनका परिवार रहता है।
दिल्ली उच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश देवेन्द्र कुमार उपाध्याय ने न्यायमूर्ति यशवंत वर्मा को निर्देश दिया कि वे भारत के मुख्य न्यायाधीश (सीजेआई) के निर्देश पर कार्य करते हुए अपने फोन पर सभी संचार को सुरक्षित रखें; इसमें बातचीत, संदेश और डेटा शामिल हैं, क्योंकि उनके आसपास का विवाद लगातार सामने आ रहा है। न्यायमूर्ति वर्मा ने दिल्ली उच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश देवेन्द्र कुमार उपाध्याय को दिए एक बयान में नकदी वसूली की घटना में उन पर लगे आरोपों का खंडन किया।
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, जज के घर में आग लगने के कारण फायर फाइटर्स को अनजाने में नकदी मिल गई। 14 मार्च को जज के घर में आग लगने के बाद फायर टेंडर्स को नकदी मिली थी। जज अपने घर पर मौजूद नहीं थे। (एएनआई)
केके
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