HAU छात्र आंदोलन गरमाया: महापंचायत में पहुंचे राकेश टिकैत, छात्रों की कुलपति हटाने की मांग पर अड़े स्टूडेंट्स
बाबूशाही ब्यूरो
हिसार, 24 जून: चौधरी चरण सिंह हरियाणा कृषि विश्वविद्यालय (एचएयू), हिसार में छात्रों का आंदोलन अब निर्णायक मोड़ पर पहुंच गया है। छात्रों की ओर से सोमवार को आयोजित न्याय महापंचायत में किसान नेता राकेश टिकैत, कांग्रेस विधायक आदित्य सुरजेवाला और जेजेपी युवा प्रदेशाध्यक्ष दिग्विजय चौटाला समेत कई राजनीतिक और किसान संगठनों ने हिस्सा लिया और छात्रों के आंदोलन को समर्थन दिया।
कुलपति को हटाने की मांग पर अड़े छात्र, वार्ता रही विफल
छात्र पिछले कई दिनों से एचएयू के गेट नंबर-4 पर धरने पर बैठे हैं और कुलपति को हटाने की अपनी मांग पर अड़े हुए हैं। हरियाणा सरकार की ओर से बनाई गई चार सदस्यीय मंत्री समिति के साथ दो दौर की वार्ता हो चुकी है, लेकिन कुलपति को हटाने की मांग पर सहमति न बनने के कारण दोनों बैठकें बेनतीजा रहीं।
छात्रों का आरोप है कि यूनिवर्सिटी प्रशासन ने छात्रों के साथ तानाशाही रवैया अपनाया और कुलपति की सहमति से ही छात्र आंदोलन को दबाने के लिए लाठीचार्ज व पुलिस बल का दुरुपयोग किया गया।
महापंचायत में उमड़ी भारी भीड़, टिकैत बोले—‘छात्रों की मांग जायज’
सोमवार को आयोजित महापंचायत में भारी संख्या में छात्र, युवाओं और समर्थकों की भीड़ उमड़ी। किसान नेता राकेश टिकैत ने कहा, "छात्रों की मांग पूरी तरह से न्यायसंगत है। देशभर में शिक्षा संस्थानों में एक खास विचारधारा को थोपने की कोशिश की जा रही है।"
उन्होंने कहा कि किसान आंदोलन से जुड़े सभी संगठन और नेता एचएयू के छात्रों के साथ खड़े हैं। वहीं, किसान नेता गुरनाम सिंह चढूनी ने भी छात्रों के साथ एकजुटता दिखाई।
राजनीतिक दलों का भी मिला समर्थन
छात्रों को कांग्रेस, आम आदमी पार्टी, इनेलो और जेजेपी समेत कई राजनीतिक दलों का समर्थन मिल चुका है। कांग्रेस विधायक आदित्य सुरजेवाला ने कहा कि छात्रों के साथ हुई लाठीचार्ज और दुर्व्यवहार निंदनीय है। जब तक छात्रों को न्याय नहीं मिलेगा, कांग्रेस उनके साथ खड़ी रहेगी।
जेजेपी के युवा प्रदेशाध्यक्ष दिग्विजय चौटाला ने भी विश्वविद्यालय प्रशासन पर गंभीर आरोप लगाए। उन्होंने कहा कि छात्रों से परीक्षा का बहिष्कार करने पर जबरन पुलिस द्वारा दुर्व्यवहार किया गया, यहां तक कि महिला छात्रावासों में पुरुष पुलिसकर्मियों की तैनाती की गई, जो अत्यंत आपत्तिजनक है।
कड़ी सुरक्षा, प्रशासन सतर्क
महापंचायत को लेकर जिला प्रशासन ने सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए हैं। हिसार में चार डीएसपी, आठ इंस्पेक्टर, 732 पुलिसकर्मियों की तैनाती की गई है। दंगा रोधक बल भी मौके पर तैनात किया गया है ताकि कोई अप्रिय घटना न हो।
क्या है आगे का रास्ता?
छात्रों ने साफ कर दिया है कि जब तक कुलपति को पद से नहीं हटाया जाता, वे पीछे नहीं हटेंगे। आंदोलन के अगले चरण को लेकर महापंचायत में फैसला लिया जा सकता है। विश्वविद्यालय प्रशासन और सरकार के सामने अब चुनौती है कि छात्रों की जायज मांगों पर कैसे समाधान निकाला जाए।
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