हरियाणा की बेटी 'काफी' ने रचा इतिहास, चंडीगढ़ ब्लाइंड स्कूल में 12वीं में किया टॉप
3 साल की उम्र में एसिड अटैक का सामना करने के बावजूद हासिल की 95.6% अंक
IAS बनकर देश की सेवा करने का है सपना
रमेश गोयत
चंडीगढ़, 13 मई– हरियाणा के हिसार की बेटी काफी ने अपने बुलंद हौसले और मेहनत से वो कर दिखाया, जिसे सामान्य हालात में भी कर पाना आसान नहीं होता। चंडीगढ़ के सेक्टर-26 स्थित **ब्लाइंड स्कूल की छात्रा काफी ने CBSE बोर्ड की 12वीं कक्षा में 95.6% अंक** हासिल कर स्कूल में टॉप किया है। उनकी इस उपलब्धि ने यह साबित कर दिया कि मुश्किलें चाहे जितनी भी बड़ी क्यों न हों, अगर हौसले मजबूत हों तो कोई भी बाधा सफलता के रास्ते में नहीं आ सकती।
3 साल की उम्र में झेला एसिड अटैक का दर्द
काफी जब मात्र **तीन साल की थीं**, तब होली के दिन एक दर्दनाक हादसे का शिकार हो गई थीं। पड़ोस में रहने वाले एक व्यक्ति ने होली के मौके पर उनके चेहरे पर **एसिड फेंक दिया**। इस दर्दनाक घटना में उनकी **आंखों की रोशनी चली गई**। बचपन में ही जिंदगी के इस कड़वे अनुभव ने उनके भविष्य को बदल दिया। लेकिन काफी ने अपने हालातों से हार मानने के बजाय उन्हें अपनी ताकत बना लिया।
संघर्ष भरा सफर, लेकिन अडिग हौसला
एसिड अटैक के बाद काफी के माता-पिता ने हिम्मत नहीं हारी और उन्हें बेहतर शिक्षा देने का सपना देखा। उन्होंने काफी को चंडीगढ़ के सेक्टर-26 स्थित ब्लाइंड स्कूल में दाखिला दिलवाया। वहीं से उनकी शैक्षिक यात्रा की शुरुआत हुई। काफी ने न सिर्फ पढ़ाई में उत्कृष्टता हासिल की, बल्कि हर परीक्षा में शानदार प्रदर्शन कर यह साबित किया कि **मेहनत और दृढ़ निश्चय** से कोई भी लक्ष्य प्राप्त किया जा सकता है।
IAS बनने का सपना
काफी का सपना अब IAS अधिकारी बनकर देश की सेवा करना है। उन्होंने अपनी इस सफलता पर कहा, *"नंबर थोड़े और आने चाहिए थे, लेकिन जो मिला है, वो भी मंजूर है। मुझे अब IAS बनना है और अपने परिवार का सपना पूरा करना है।"* उनके हौसले और जज़्बे को देखकर स्कूल के शिक्षक और साथी छात्र भी बेहद गर्व महसूस कर रहे हैं।
प्रेरणा का स्रोत बनी काफी
काफी की इस सफलता ने न सिर्फ उनके परिवार, बल्कि पूरे स्कूल का नाम रोशन किया है। स्कूल प्रबंधन का कहना है कि काफी की मेहनत और लगन अन्य छात्रों के लिए भी एक मिसाल है। उनकी इस उपलब्धि से यह संदेश मिलता है कि शारीरिक सीमाएं कभी भी सपनों को रोक नहीं सकतीं।
काफी की यह कहानी यह भी सिखाती है कि जिंदगी में आने वाली चुनौतियां हमें कमजोर नहीं, बल्कि और मजबूत बनाती हैं। उनकी आगे की पढ़ाई और IAS बनने के सपने को साकार करने के लिए राज्य सरकार और विभिन्न सामाजिक संगठनों ने भी मदद का आश्वासन दिया है। काफी की यह कहानी न केवल हरियाणा, बल्कि पूरे देश के लिए प्रेरणादायक है। उनकी सफलता यह सिद्ध करती है कि सच्ची लगन और मेहनत से कोई भी बाधा आपको आपके लक्ष्य से दूर नहीं कर सकती।
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