पाकिस्तान झूठ बोलने का कारखाना, हिंदी विरोध संघीय ढांचे पर हमला: अनिल विज
बाबूशाही ब्यूरो
चंडीगढ़, 07 जुलाई – हरियाणा के ऊर्जा, परिवहन व श्रम मंत्री अनिल विज ने सोमवार को चंडीगढ़ में प्रेस से बातचीत करते हुए पाकिस्तान, विपक्षी नेताओं और देश में भाषा के नाम पर फैल रहे विभाजनकारी रुख को लेकर तीखे तेवर दिखाए। उन्होंने स्पष्ट कहा कि “पाकिस्तान झूठ बोलने का कारखाना है, जो हर युद्ध में झूठे प्रचार करता आया है।” उन्होंने कारगिल युद्ध का जिक्र करते हुए कहा कि पाकिस्तान ने अपने मारे गए सैनिक को पहचानने से इनकार किया था और अब उसे श्रद्धांजलि दे रहे हैं, जिससे यह सिद्ध होता है कि वह उन्हीं का आदमी था।
महाराष्ट्र में हिंदी बोलने वालों पर हमला ‘विरोध नहीं गुंडागर्दी’ – विज
अनिल विज ने महाराष्ट्र में हिंदी भाषियों पर हो रहे हमलों को लेकर भी अपनी प्रतिक्रिया दी। उन्होंने कहा कि “हिंदी बोलने वालों को थप्पड़ मारना, दुकानें तोड़ना क्या विरोध है? यह तो सीधा हिंसा है।” संजय राउत द्वारा हिंदी थोपने के विरोध के बयान पर पलटवार करते हुए विज ने कहा कि “क्या अब महाराष्ट्र में भगवद गीता संस्कृत में पढ़ना और कुरान अरबी में पढ़ना भी बंद होगा?” उन्होंने इसे देश के संघीय ढांचे पर हमला बताया और कहा कि “जो हिंदी का विरोध करता है, वह हिंदुस्तान का विरोध करता है।”
राहुल गांधी पर भी साधा निशाना
बिहार में एक पत्रकार की हत्या पर कांग्रेस नेता राहुल गांधी की टिप्पणी पर प्रतिक्रिया देते हुए विज ने कहा कि “राहुल गांधी केवल भाजपा शासित राज्यों को निशाना बनाते हैं, लेकिन कांग्रेस शासित राज्यों में अपराध पर चुप रहते हैं।” उन्होंने सवाल उठाया कि “क्या वे कांग्रेस शासित प्रदेशों में होने वाले अपराध नहीं देखते?” विज ने कहा कि बिहार सरकार हत्या मामले में कार्रवाई कर रही है।
हार्ट सेंटर में मरीजों से बाहर की दवाएं लिखना असहनीय: विज
अंबाला के सिविल अस्पताल स्थित हार्ट सेंटर में डॉक्टर द्वारा मरीजों को बाहर की दवाएं लिखे जाने की शिकायत पर विज ने कहा कि “यह किसी भी हालत में बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।” उन्होंने अधिकारियों को निर्देश दिए हैं कि हार्ट सेंटर में भर्ती हर मरीज का सिविल अस्पताल कार्ड बनना अनिवार्य किया जाए ताकि उसे भविष्य में निशुल्क दवाएं मिल सकें।
विज ने गाया फिल्मी गीत, जताई भावनाएं
अपने चिरपरिचित अंदाज में अनिल विज ने अंबाला के सदर बाजार टी प्वाइंट पर मित्र मंडली के साथ फिल्मी गीत “कस्में वादे प्यार वफ़ा सब, बाते हैं बातों का क्या…” भी गुनगुनाया, जो चर्चा का विषय बना रहा।
राजनीतिक हमला हो या प्रशासनिक निर्देश, अनिल विज की शैली हमेशा स्पष्ट, सीधी और तेज होती है – और आज का दिन भी इससे अलग नहीं था।
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